आरोपी ने कोर्ट को बताया कि बच्ची का चचेरा भाई उससे नाराज था क्योंकि उसने लड़के के चरित्र को लेकर गलत टिप्पणी कर दी थी। यह मामला अगस्त 2020 का है और अक्तूबर में आरोपी पिता को गिरफ्तार कर लिया गया था। कोर्ट ने कहा कि अभियोजन पक्ष की ओर से इस मामले में संबंधित सबूत नहीं पेश किए गए।
इसके अलावा कोर्ट ने माना कि आरोपी की ओर से कोई वकील नहीं पेश किया गया और आरोपी ने अपनी बात रखते हुए कहा कि एक रिश्तेदार के कहने पर उस पर झूठे तरीके से यह आरोप लगाए गए हैं। कोर्ट ने कहा कि ये बात सच है कि आरोपी पिता को ही बच्ची की देखभाल करनी होगी।
वहीं आरोपी पिता को ही बच्ची की स्कूली पढ़ाई और उसके भोजन का ख्याल रखना होगा। इसलिए यह कहना और मानना मु्श्किल है कि कोई पिता अपनी बेटी के साथ ऐसा दुर्व्यवहार कर सकता है। इसके अलावा कोर्ट ने कहा कि अपनी माता के कहने पर भी बच्ची उनके साथ पनवेल नहीं गई। कोर्ट ने कहा कि सिर्फ 11 वर्षीय बेटी ही नहीं बल्कि उसकी दो बहनें भी आरोपी पिता के साथ रहती हैं।
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